शायद आज मेरी बात से समाज का एक बहुत बड़ा समुदाय सहमत नहीं होगा पर फिर भी आप सभी के कटाक्ष मैं सहने के लिए तैयार हूँ और हाथ जोड़कर उस पंडित वर्ग से विनम्र निवेदन करती हूँ जो अपने पांडित्य के आगे किसी भी जाती को अपने से श्रेष्ठ नहीं समझते कि कृपया आप अपने घर के मंदिर से भगवान् राम और श्री कृष्ण की मूर्ती उठाकर फेंक दीजिये क्योंकि राम एक रघुवंशी थे मतलब क्षत्रिय और कृष्ण यदुवंशी। इंसान पढ़ा लिखा। बहुत उन्नति की। कोई वकील बना, कोई डॉक्टर, कोई इंजीनियर पर मुझे बहुत आश्चर्य होता है जब कोई इतना पढ़ा लिखा वर्ग जात पात जैसी दखियानूसी बाते करता है सच मेरा सर शर्म से झुक जाता है मुझे लगता है कि क्यों भगवान् ने इस दुनिया में इंसानों को जन्म दे दिया। इस जग की पंडिताई ने कितनो का जीवन बर्बाद कर दिया और शायद मेरा भी।
By Swati Gupta